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स्नैपडील एक सफलता की कहानी

  • Writer: mlmbusinessphd
    mlmbusinessphd
  • Nov 16, 2024
  • 2 min read

स्नैपडील: एक सफलता की कहानी

कुणाल बहल और रोहित बंसल ने फरवरी 2010 में स्नैपडील की स्थापना की। कुणाल बहल, जो व्हार्टन से इंजीनियरिंग और बिजनेस में ड्यूल डिग्री धारक हैं, और रोहित बंसल, जो आईआईटी दिल्ली के पूर्व छात्र हैं, ने मिलकर भारत में ई-कॉमर्स को नई दिशा दी।


स्नैपडील की शुरुआत कैसे हुई?

2010 में, कुणाल और रोहित ने अपना खुद का बिजनेस शुरू करने का विचार किया और "MoneySaver" नामक कंपनी की शुरुआत की। इस कंपनी ने केवल तीन महीनों में अच्छा प्रदर्शन किया, जिससे उन्होंने इसे और विस्तार देने का निर्णय लिया।

लेकिन व्यवसाय को बढ़ाने के लिए निवेश की आवश्यकता थी। इसके लिए उन्होंने निवेशक वाणी कोला से संपर्क किया। पहली बार उनकी बातचीत सफल नहीं रही, लेकिन दूसरी मुलाकात में वाणी कोला ने स्नैपडील में निवेश करने का निर्णय लिया। इसके साथ ही 2010 में Snapdeal एक ऑनलाइन प्लेटफॉर्म के रूप में शुरू हुआ।


शुरुआती चुनौतियां

शुरुआती महीनों में कुणाल और रोहित ने कई गलतियां कीं, लेकिन उन्होंने उनसे सीखते हुए अपने व्यवसाय को सुधारना जारी रखा। 2011 में, चीन की सफल ई-कॉमर्स कंपनी अलीबाबा की कार्यप्रणाली से प्रेरित होकर उन्होंने अपने बिजनेस मॉडल को बदला। यह एक जोखिम भरा फैसला था, लेकिन इससे स्नैपडील को नई दिशा मिली।


स्नैपडील की सफलता के प्रमुख मील के पत्थर

  • 2011: स्नैपडील ने Grabbon. com का अधिग्रहण किया।

  • 2012: ई-कॉमर्स स्पोर्ट्स प्लेटफॉर्म esportsbuy. com का अधिग्रहण किया।

  • 2013: Shopo. in का अधिग्रहण किया।

  • 2014: Wishpicker. com का अधिग्रहण किया।

  • 2015: Exclusively .in और Gojavas .com में 20% हिस्सेदारी खरीदी।


स्नैपडील की विस्तार यात्रा

आज, स्नैपडील के पास 275,000 से अधिक विक्रेता हैं और यह 30 मिलियन से अधिक उत्पादों की पेशकश करता है। कंपनी भारत के 6,000 से अधिक शहरों में अपनी सेवाएं प्रदान कर रही है। स्नैपडील की सफलता का श्रेय कुणाल और रोहित की मेहनत, ईमानदारी और नवाचार को जाता है।

मार्च 2015 में, स्नैपडील ने अभिनेता आमिर खान को अपना ब्रांड एंबेसडर बनाया। इसके बाद से कंपनी की वार्षिक वृद्धि दर 600% तक पहुंच गई।


प्रेरणा

स्नैपडील की कहानी यह साबित करती है कि किसी भी सफलता के लिए केवल एक विचार की आवश्यकता होती है। लेकिन उससे भी ज्यादा जरूरी है उस विचार पर विश्वास रखना और उसे साकार करने के लिए लगातार मेहनत करना। कुणाल बहल और रोहित बंसल ने अपनी दूरदृष्टि और लगन से स्नैपडील को भारत की अग्रणी ई-कॉमर्स कंपनियों में शामिल कर दिया।

स्नैपडील की यात्रा यह संदेश देती है कि सही दृष्टिकोण और मेहनत से हर सपना पूरा किया जा सकता है I

 
 
 

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