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सपनों का स्टेशन - बॉलीवुड की ओर एक सफर

  • Writer: mlmbusinessphd
    mlmbusinessphd
  • Jun 15
  • 3 min read

🌟 प्रेरणादायक कहानी: "सपनों का स्टेशन" – बॉलीवुड की ओर एक सफर 🌟(हर उस कलाकार के लिए जो अपनी पहचान बनाना चाहता है)


भाग 1: एक छोटा शहर, बड़ा सपना

कहानी है आरव और आर्या की।आरव एक छोटे से गांव में पला-बढ़ा लड़का था। उसके पापा किसान थे और मां घर संभालती थीं। आरव को बचपन से ही फ़िल्मों का शौक था। वो खेत में काम करते हुए भी शाहरुख़ की एक्टिंग करता और रात में मोबाइल की टॉर्च में अपनी परछाई से डायलॉग बोलता।

उधर आर्या जयपुर की गलियों में बड़ी हुई थी। वो एक बेहतरीन डांसर थी, लेकिन घर की आर्थिक हालत कमजोर थी। उसके पास महंगे क्लासेज़ का पैसा नहीं था, फिर भी वो यूट्यूब वीडियो से सीखकर खुद को निखारती रही।

दोनों के सपने एक जैसे थे — बॉलीवुड जाना, अपनी पहचान बनाना।


भाग 2: सफर की शुरुआत – मायानगरी मुंबई

एक दिन आरव ने ठान लिया –"अब और इंतज़ार नहीं, अब खुद को मौका देना है।"

उसने अपने गांव के बस स्टैंड से ₹200 की टिकट लेकर मुंबई का सफर शुरू किया। न जेब में पैसे थे, न जान-पहचान… बस एक सपना था।

आर्या ने जयपुर से अपनी कुछ सेविंग्स जोड़ीं, कुछ रिश्तेदारों से उधार लिया और एक लोकल ट्रेन में बैठ मुंबई पहुंची।

दोनों को पहली रात रेलवे स्टेशन के बाहर सोना पड़ा।मुंबई का मौसम गर्म था, पर सपनों की आग और भी गर्म थी।


भाग 3: संघर्ष – ऑडिशन, रिजेक्शन और आँसू

मुंबई की हकीकत जल्दी सामने आई।रोज़ सुबह ऑडिशन, लाइन में खड़े रहना, “अभी टाइम नहीं है” सुनना, और घर लौटकर खाली पेट सो जाना

आरव कई बार रिजेक्ट हुआ क्योंकि उसके पास कोई "गॉडफादर" नहीं था।आर्या को कई बार कहा गया, "तुम अच्छी हो पर हमें चेहरा दूसरा चाहिए।"

एक दिन दोनों लोकल ट्रेन में मिले।बातों-बातों में समझ आया कि दोनों एक ही जंग लड़ रहे हैं। एक दूसरे का हौसला बने और साथ में संघर्ष शुरू किया।


भाग 4: एक नई सोच – खुद को बनाना पड़ेगा ब्रांड

आरव ने वीडियो बना कर इंस्टाग्राम और यूट्यूब पर डालने शुरू किए।आर्या ने स्ट्रीट परफॉर्मेंस शुरू की और लोगों का ध्यान खींचा।

धीरे-धीरे फॉलोअर्स बढ़े, एक दिन एक कास्टिंग डायरेक्टर ने आरव का वीडियो देखा और उसे एक वेबसीरीज़ का छोटा रोल मिला।

आर्या को एक म्यूजिक वीडियो में डांस का ऑफर मिला।दोनों की आंखों में फिर से चमक लौट आई।


भाग 5: कामयाबी की पहली सीढ़ी

एक दिन एक बड़ा ऑडिशन आया — फिल्म में साइड रोल और बैकग्राउंड डांसर का।

आरव और आर्या दोनों ने अपना बेस्ट दिया।नतीजा? दोनों को सेलेक्ट कर लिया गया।

फिल्म भले ही हिट ना हो पाई, लेकिन इंडस्ट्री में दोनों का नाम बन गया।धीरे-धीरे म्यूजिक एल्बम्स, वेब सीरीज़, और ब्रांड शोज़ से ऑफर आने लगे।


भाग 6: कहानी सिर्फ उनकी नहीं रही…

आज आरव एक एक्टर, मोटिवेशनल स्पीकर और राइटर है।आर्या एक डांसर, कोरियोग्राफर और मॉडलिंग कोच है।

दोनों ने मिलकर एक छोटा सा "आर्टिस्ट हब" बनाया है, जहां गरीब, मध्यम वर्ग और छोटे शहरों से आने वाले एक्टर्स, मॉडल्स, सिंगर्स, मेकअप आर्टिस्ट, डांसर और राइटर्स को फ्री ट्रेनिंग और गाइडेंस दी जाती है।


🎯 सीख और प्रेरणा – जो इस कहानी से मिलती है:

  • अगर सपने बड़े हैं, तो रास्ते खुद बनते हैं।

  • जो मेहनत से नहीं डरता, किस्मत भी उसका साथ देती है।

  • पहचान कोई देता नहीं, खुद बनानी पड़ती है

  • रिश्ते और पैसे मदद कर सकते हैं, लेकिन टैलेंट और सब्र ही आपको मंज़िल तक पहुंचाते हैं।

  • लड़की हो या लड़का, गांव से हो या शहर से — अगर आप ईमानदारी से अपने आर्ट को जीते हैं, तो एक दिन आपकी बारी जरूर आएगी।

🔥 अब आपकी बारी है

अगर आप भी आरव या आर्या की तरह एक कलाकार हैं — चाहे एक्टर, डांसर, सिंगर, राइटर, मॉडल या मेकअप आर्टिस्ट — तो याद रखें:

"मुंबई स्टेशन पर हर दिन हजारों सपने उतरते हैं...पर जो खुद को साबित करता है, वही असली सितारा बनता है।"

 
 
 

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